दो दिन के लंबे इंतजार के बाद टीएमसी से 6 साल के लिए बर्खास्त और संदेशखाली केस के मुख्य आरोपी शाहजहां शेख की कस्टडी सीबीआई को मिल गई है। बंगाल की सीआईडी पुलिस ने मेडिकल जांच के बाद शेख को सीबीआई के हवाले किया।कलकत्ता हाई कोर्ट ने आज फिर संदेशखाली केस में बंगाल सरकार को फटकार लगाई थी और शाम सवा चार बजे तक शेख और केस के पेपर सीबीआई को सौंपने के लिए आदेश दिए थे।संदेशखाली में महिलाओं के कथित यौन उत्पीड़न और शारिरिक शोषण मामले में आरोपी शेख शाहजहां को आखिरकार बंगाल की सीआईडी ने सीबीआई के हवाले कर दिया। कलकत्ता हाई कोर्ट के आदेश पर सीआईडी ने शेख और केस के पेपर केंद्रीय जांच एजेंसी को सौंपी। हाई कोर्ट ने आज फिर मामले में बंगाल पुलिस को आदेश दिया था कि वे शाम सवा चार बजे तक शेख को सीबीआई की टीम के हवाले कर दें।इससे पहले हाई कोर्ट ने मंगलवार को भी शाम पांच बजे से पहले शेख और केस के पेपर सीबीआई के हवाले करने के आदेश दिए थे। जिसके बाद कल ही बंगाल सरकार ने फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी। ममता सरकार की तरफ से अभिषेक सिंघवी ने सुप्रीम कोर्ट से दरख्वास्त की थी कि मामले में जल्द सुनवाई की जाए लेकिन, सुप्रीम कोर्ट ने ऐसा करने से साफ इनकार कर दिया था।शाहजहां शेख लगभग दो महीने तक गिरफ्तारी से बचा हुआ था, उसे पिछले हफ्ते ही बंगाल पुलिस ने गिरफ्तार किया था। शेख और उसके समर्थकों पर संदेशखाली में टीएमसी पार्टी दफ्तर पर महिलाओं से कथित तौर पर यौन उत्पीड़न का आरोप है। इसके अलावा उसके समर्थक और शेख खुद प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के अधिकारियों की एक टीम पर हमले का भी आरोपी है। ईडी की टीम 5 जनवरी को राशन घोटाले की जांच के सिलसिले में संदेशखली में उसके परिसर की तलाशी लेने गए थे।
शेख का विधायकों और मंत्रियों से बड़ा रुतबा
अपने समर्थकों द्वारा ‘भाई’ के रूप में पॉपुलर शाहजहां 2013 में टीएमसी में शामिल हुआ था। दो साल बाद ममता बनर्जी के नेतृत्व वाली टीएमसी ने बंगाल में वाम मोर्चे को सत्ता से हटा दिया। कई लोगों के मुताबिक शेख कई विधायकों और मंत्रियों से भी ज्यादा ताकतवर था। एक पुलिस अधिकारी ने एचटी को बताया, “शेख का प्रभाव इतना था कि अगर कोई भी ग्रामीण टीएमसी के किसी भी व्यक्ति के खिलाफ शिकायत दर्ज कराने के लिए पुलिस के पास जाता था, तो पुलिस उसे शाहजहां से संपर्क करने की सलाह देती थी।”
दबाव बढ़ने पर हुई शेख की गिरफ्तारी
18 फरवरी को, झाड़ू और लाठियां थामे कई महिलाओं ने शाहजहां और उनके समर्थकों पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाते हुए संदेशखाली में विरोध प्रदर्शन किया था। इसके बाद कलकत्ता उच्च न्यायालय द्वारा सवाल किए जाने के बाद कि उन्हें गिरफ्तार क्यों नहीं किया जा रहा है, टीएमसी ने दावा किया कि HC ने शाहजहां की गिरफ्तारी पर रोक लगा दी है। उच्च न्यायालय की पीठ ने स्पष्ट किया कि ऐसी कोई रोक नहीं है और आरोपी को गिरफ्तार करने की जरूरत है। महीनों तक बचकर निकलने के बाद दबाव में शेख की गिरफ्तारी हुई थी।