आरजेडी सांसद मनोज झा की ठाकुर कविता पाठ पर मचे घमासान के बीच पटना पहुंचे डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव ने प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि अगर चेतन मोहन को कोई आपत्ति थी, तो पहले पार्टी फोरम पर बात रखनी चाहिए थी।न की ट्वीट कर करना चाहिए था। अगर कोई बात होगी तो हम लोग बात करेंगे। ये मामला हम लोग के संज्ञान में हैं। वहीं मनोज झा का समर्थन करते हुए उन्होने कहा कि मनोज झा खुद एक प्रोफेसर हैं और उन्हें सर्वश्रेष्ठ सांसद चुना गया था…कविता ओम प्रकाश वाल्मिकी द्वारा लिखी गई थी जिसे उन्होंने उद्धृत किया, जिसका किसी जाति से कोई संबंध नहीं था।तेजस्वी ने कहा कि ठाकुर नाम से कविता पाठ करने का यह मतलब नहीं है, कि इसमें राजपूत या किसी एक जाति को निशाना बनाया गया है। कई जातियों के उपनाम ठाकुर हैं। कर्पूरी ठाकुर भी अपना उपनाम ठाकुर ही लगाते थे, जबकि वे राजपूत नहीं थे। इसी तरह यादव में भी कई उपनाम हैं। तेजस्वी ने कहा, हम अहीर हैं लेकिन हमारा उपनाम यादव है। उन्होंने कहा कि राजपूतों के सबसे ज्यादा विधायक और एमएलसी राजद से हैं। साथ ही राजद हमेशा से पूर्व प्रधानमंत्री वीपी सिंह के सिद्धांत का अनुसरण करती है जो राजपूत थे।
तेजस्वी ने संसद में भाजपा नेताओं की भाषा पर सवाल उठाया। उन्होंने कहा कि भाजपा के नेताओं ने मनोज झा का सिर काटने की धमकी दी है। ऐसी भाषा का हम हमेशा विरोध करते हैं, अगर कोई हमारे दल का नेता भी ऐसा बोलता तो हम उसका भी विरोध करते। लेकिन भाजपा के लोग ऐसी भाषा बोल रहे हैं। भाजपा सांसद रमेश बिधूड़ी ने बसपा के मुस्लिम सांसद को अपमानजनक शब्द कहे लेकिन उनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं, ऐसे में जानबूझकर ठाकुर विवाद को पैदा किया है।
ऐसे में कयास लगाए जा रहे हैं कि पूर्व सांसद आनंद मोहन के बेटे और आरजेडी विधायक चेतन मोहन पर कार्रवाई हो सकती है। इससे पहले राजद सुप्रीमो लालू यादव ने पूर्व सांसद आनंद मोहन और उनके बेटे चेतन आनंद को कम अक्ल वाला बताया था। और कहा था कि जितनी अक्ल होगी, उतना ही बोलेगा ना।