कनाडाई प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो द्वारा लगाए गए गंभीर आरोप के बाद नई दिल्ली और ओटावा के बीच रिश्ते तल्ख हो गए। भारत में मौजूद राजनयिकों को भी कनाडा ने दूसरे देशों में शिफ्ट कर दिया।इन सबके बीच, ब्रिटिश प्रधानमंत्री सुनक ने कनाडाई पीएम ट्रूडो के साथ फोन पर बात की और उम्मीद जताई कि भारत और कनाडा विवाद में कमी देखने को मिलेगी। दोनों देशों के बीच खालिस्तानी निज्जर की हत्या के बाद से संबंध बिगड़ गए हैं।ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक और कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने टेलीफोन पर हुई बातचीत के दौरान नई दिल्ली और ओटावा के बीच तनाव कम करने तथा कानून के शासन का सम्मान करने पर जोर दिया। डाउनिंग स्ट्रीट (प्रधानमंत्री आवास सह कार्यालय) ने एक बयान में कहा कि सुनक ने शुक्रवार शाम ट्रूडो से बात की और इस दौरान उन्हें भारत में कनाडाई राजनयिकों से संबंधित स्थिति के बारे में जानकारी दी गई और दोनों नेता संपर्क में बने रहने पर सहमत हुए।वहीं, खालिस्तान समर्थक वांछित अलगाववादी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या में भारत सरकार के एजेंट की संलिप्तता के कनाडा के आरोप के बाद सुनक ने कानून का शासन के प्रति ब्रिटेन के रुख को दोहराया। बयान में कहा गया है, ”प्रधानमंत्री ट्रूडो ने भारत में कनाडाई राजनयिकों से संबंधित स्थिति पर जानकारी दी।” इसमें कहा गया, ”प्रधानमंत्री (सुनक) ने ब्रिटेन के उस रुख को दोहराया कि सभी देशों को राजनयिक संबंधों पर वियना संधि के सिद्धांतों सहित संप्रभुता और कानून के शासन का सम्मान करना चाहिए। उन्होंने हालात बेहतर होने की उम्मीद जताई।”कनाडा की राजधानी ओटावा से प्रधानमंत्री कार्यालय ने इस बयान को दोहराते हुए कहा कि ट्रूडो ने कनाडा और भारत के बीच मौजूदा स्थिति पर जानकारी प्रदान की। कनाडा सरकार के बयान में कहा गया है, ”दोनों नेताओं ने राजनयिक संबंधों पर वियना संधि के सम्मान और अपने नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने तनाव कम करने के महत्व को रेखांकित किया। प्रधानमंत्री ट्रूडो और प्रधानमंत्री सुनक करीबी संपर्क में रहने और वैश्विक मुद्दों से निपटने के लिए साथ मिलकर काम करने पर सहमत हुए।”