भारत से दुश्मनी मोल लेते ही मालदीव की निकल गई हवा, हो गया भयंकर नुकसान

मोहम्मद मुइज्जू के मालदीव के राष्ट्रपति बनने के बाद से ही नई दिल्ली और माले के बीच रिश्ते बिगड़ने लगे। भारतीय सैनिकों को मालदीव से वापस भेजने के बीच मुइज्जू चीन से संबंध बेहतर करने लगे।ऐसे में मालदीव और भारत के बीच संबंधों में खटास आने लगी। भारत से ‘दुश्मनी’ मोल लेने वाले मालदीव को अब भयंकर नुकसान भी होने लगा है। दरअसल, मालदीव की यात्रा करने वाले भारतीय पर्यटकों की संख्या में बड़ी गिरावट दर्ज की गई है। यानी कि भारत पर्यटकों के माध्यम से मालदीव को आर्थिक चोट पहुंचा रहा है। इस साल के पहले तीन महीने में सामने आए डेटा के अनुसार, मालदीव जाने वाले भारतीय टूरिस्टों की संख्या काफी कम हो गई है।

मालदीव के टूरिज्म डिपार्टमेंट के आंकड़ों के अनुसार, इस साल जनवरी से मार्च के बीच कुल 34,847 भारतीय पर्यटकों ने मालदीव की यात्रा की, जबकि पिछले साल इस दौरान यह डेटा 56 हजार से ज्यादा था। सिर्फ तीन महीने में ही मालदीव पहुंचने वाले भारतीय पर्यटकों की संख्या में 38 फीसदी की गिरावट दर्ज की जा चुकी है। जनवरी महीने में 12,792 भारतीयों ने मालदीव की यात्रा की थी। वहीं, साल 2021 में, मालदीव में भारतीय पर्यटकों की संख्या बढ़कर 2.91 लाख थी।इस साल फरवरी महीने में कुल 11,522 भारतीय टूरिस्ट मालदीव पहुंचे। पिछले साल इस महीने में कुल 19,497 भारतीय मालदीव गए थे। मार्च की बात करें तो इस साल सिर्फ 8,322 भारतीय ही मालदीव गए, जबकि पिछले साल मार्च महीने में यह आंकड़ा 18,099 का था। इन आंकड़ों से साफ है कि भारत से रिश्ते बिगाड़ के मालदीव को बड़ा नुकसान सहना पड़ रहा है। अतीत में भारत और मालदीव के रिश्ते काफी अच्छे थे, लेकिन पिछले साल हुए मालदीव में राष्ट्रपति पद के चुनाव के दौरान मोहम्मद मुइज्जू ने भारत के खिलाफ चुनावी कैंपेन करते हुए जीत दर्ज की। मुइज्जू ने चुनाव के दौरान वादा किया था कि यदि उनकी जीत होती है तो मालदीव से भारतीय सैनिकों को जाना होगा। जब वे राष्ट्रपति बने तो भारतीय सैनिकों को वापस जाने का अल्टीमेटम दे दिया। इसके बाद, कई फेज में भारतीय सैनिक मालदीव से वापस लौट आए।

मालदीव के पर्यटन मंत्रालय द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार, साल 2018 में, केवल एक लाख से कम भारतीयों ने मालदीव का दौरा किया था, जबकि 2.83 लाख चीनी पर्यटक मालदीव में दर्ज किए गए थे। वहीं, चीनी संख्या स्थिर रही, लेकिन 2019 में भारतीयों की संख्या बढ़कर 1.6 लाख हो गई। वर्ष 2021 महत्वपूर्ण वर्ष था, जिसमें 2.91 लाख भारतीय थे, क्योंकि कोविड के कारण दुनिया भर में पर्यटकों के लिए प्रतिबंध था और मालदीव आरटी-पीसीआर परीक्षणों के तहत खुला था। साल 2021 में केवल 2238 चीनी लोगों ने मालदीव का दौरा किया क्योंकि चीन में सख्त लॉकडाउन लागू था।

पीएम मोदी ने लक्षद्वीप का किया था दौरा
इस साल की शुरुआत में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लक्षद्वीप का दौरा किया था। उन्होंने समुद्र तट पर कई तस्वीरें भी खिंचवाईं थीं। फोटोज के सामने आने के बाद सोशल मीडिया यूजर्स ने मालदीव की जगह लक्षद्वीप का दौरा करने की अपील की थी। बॉयकॉट मालदीव के साथ-साथ विजिट लक्षद्वीप का भी ट्रेंड शुरू हो गया था। पीएम मोदी के इस दौरे का असर दो तरीके से पड़ा। पहला मालदीव जाने वाले पर्यटकों की संख्या में भारी गिरावट दर्ज की गई, तो वहीं लक्षद्वीप जाने वाले लोगों की संख्या बढ़ गई। कई पर्यटक मालदीव की जगह लक्षद्वीप जाने लगे हैं।

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